दिल्ली में अचानक आए आंधी तूफ़ान ने दिल्ली वालो को गर्मी से राहत तो दिलाई लेकिन कई इलाको में तबाही मचा दी। पूर्वी दिल्ली में दयालपुर थाना क्षेत्र के नेहरू विहार में बुधवार रात को आई तेज आंधी ने जमकर कहर मचाया। इस आंधी ने एक परिवार की खुशियाँ छीन ली, तेज आंधी के दौरान एक मकान की खिड़की का शीशा टूटकर गली में जा गिरा।
इस दौरान गली में खड़ी नौ साल की बच्ची पर शीशा टूटकर गिर गया फिर बच्ची को सिविल लाइंस ट्रॉमा सेंटर ले जाया गया जहा बच्ची को मृत घोषित कर दिया गया।बच्ची अपनी दोस्त के साथ गली में खेल रही होती है उसी दौरान तेज आंधी के कारण एक लोहे की खिड़की बच्ची के उपर गिर जाती है और बच्ची की मौत हो जाती है यही नही उसके साथ खेलने आई लड़की भी इस हादसे में घायल हुई है।
मृतक बच्ची की पहचान शहाना उर्फ चांदनी के रूप में हुई है। वही बच्ची की नानी का यह कहना है की बच्ची के पिता इस दुनिया मे नही है और माँ की मानसिक स्थिति कमज़ोर है नानी ने ही बच्ची को पाला है,इस हादसे के बाद घटना स्थल का निरीक्षण क्राइम टीम द्वारा किया गया इस संदर्भ मे मकान मालिक के खिलाफ दयालपुर थाना मे भारतीय न्याय सहिता की धारा 106 के तहत मामला दर्ज करलिया गया है पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है। इस दर्दनाक घटना से आसपास के लोग भी सहम उठे।
मुलताई में कुछ बैंक, कुछ शॉपिंग कॉम्प्लेक्स बिना पार्किंग के संचालित हो रहे हैं, तथा कुछ लोगों ने पार्किंग के लिए जगह बहुत कम दी है। जो वाहन पार्किंग के लिए पर्याप्त नहीं है। इससे ग्राहको को वाहन खड़े करने में बहुत परेशानी होती है। आखिर बिना पार्किंग के बैंक कैसे संचालित हो रहे हैं। ये तो नियमों का उल्लघंन हो रहा है। सड़क किनारे वाहन खड़े करने से यातायात व्यवस्था प्रभावित होती है। कई बार दुर्घटना तक हो जाती है। सरकारी जमीन पर वाहन खड़े हो रहे हैं ।जबकि जिस भवन मे बैंक संचालित होती है उसकी स्वयं की पार्किंग होना जरूरी है। मुलताई में संचालित सभी बैंकों की पार्किंग व्यवस्था की जांच होना चाहिए।
कुछ बेसमेंट बिना अनुमति के बने हैं। कुछ व्यावसायिक भवनों के नक्शे बिना पार्किंग दिए पास हुए हैं। कुछ लोगों ने सरकारी जमीन पर पक्का अतिक्रमण कर लिया है। जांच होना चाहिए।
रवि खवसे, मुलताई (मध्यप्रदेश)