CRPF - दिल्ली अप टू डेट - Delhi Up To Date https://delhiuptodate.com Lastest News in Hindi, Breaking Hindi New... Wed, 19 Jul 2023 12:06:27 +0000 en-US hourly 1 https://wordpress.org/?v=6.7.2 Manipur violence : दीवार को भेदती हुई बर्तनों और घर के फर्नीचर में घुसीं गोलियां https://delhiuptodate.com/archives/4702 https://delhiuptodate.com/archives/4702#respond Wed, 19 Jul 2023 12:06:27 +0000 https://delhiuptodate.com/?p=4702 मणिपुर में मैतेई और कुकी समुदाय के बीच मई महीने में जातीय हिंसा शुरू हुई थी, इसके बाद शायद ही कोई ऐसा दिन होगा जिस दिन गोलियों की आवाजें लोगों न सुनी हो। जातीय हिंसा से मैतेई और कुकी समुदाय ही नहीं राज्य के गांवों में कई अन्य समुदाय भी इस लड़ाई के खतरों को ... Read more

The post Manipur violence : दीवार को भेदती हुई बर्तनों और घर के फर्नीचर में घुसीं गोलियां first appeared on दिल्ली अप टू डेट - Delhi Up To Date.

]]>
मणिपुर में मैतेई और कुकी समुदाय के बीच मई महीने में जातीय हिंसा शुरू हुई थी, इसके बाद शायद ही कोई ऐसा दिन होगा जिस दिन गोलियों की आवाजें लोगों न सुनी हो। जातीय हिंसा से मैतेई और कुकी समुदाय ही नहीं राज्य के गांवों में कई अन्य समुदाय भी इस लड़ाई के खतरों को झेल रहे हैं और वे हर दिन खतरे में रहने के लिए मजबूर हैं।

कुछ गावों की छोटी-छोटी झोपड़ियों और साधारण बस्तियों की दीवारों पर तो ताजा हिंसा के निशान दिखाई देते हैं, जिन पर गोलियों के अनगिनत निशान हैं। घर के अंदर रखे फर्नीचर और रसोई के बर्तनों में अनगिनत गोलीयों के छेद हैं, गोलियां नाजुक दिवारों को काटती हुई, घर में रखे सामनों में जा घुसी हैं।

कभी भी चलने लगतीं है गोलियां
राज्य के फोलजांग मणिपुर राज्य के चुराचांदपुर जिले के समुलामलान तहसील में एक गांव है और वहीं फौबाकचाओ गांव मणिपुर में इम्फाल पश्चिम जिले के वांगोई उपखंड में स्थित है। इन गावों के निवासियों को गोलीबारी का डर है यहां कभी भी गोलियां चलने लगतीं हैं, उन्होंने स्थानीय अधिकारियों रवैये पर भी सवाल उठाया है।

फौबाकचाओ के एक ग्रामीण वाहिद रहमान ने कहा कि हम काफी खतरे के बीच रह रहे हैं। भविष्य के बारे में कोई निश्चितता नहीं है। गोलीबारी अचानक शुरू होती है, और यह घंटों तक चलती रहती है। आगे उन्होंने बताया कि हमारे अपने कुछ साथी ग्रामीणों इस विकट बचने के लिए रिश्तेदारों के पास चले गए। लेकिन उन लोगों का क्या जिनके पास जाने के लिए कोई और जगह नहीं है, हम खतरों के बीच जीने के लिए मजबूर हैं जिनका हम सामना कर रहे हैं।

हिंसा में छोटे बच्चों की जा रही जान
फोलजांग के कुछ निवासियों का कहना है कि वे महसूस करते हैं कि स्थानीय अधिकारियों ने उन्हें मरने के लिए छोड़ दिया है। इफाफ मयूम खान ने कहा कि मैतेई और कुकी समुदायों के बीच झड़पें मई में इस जगह से सिर्फ 2-3 किमी दूर शुरू हुईं। तब से, हमारी शांति नष्ट हो गई है। कोई भी हमारे जीवन के दर्द को समझने नहीं आया है, न ही स्थानीय विधायक और न ही कोई सरकारी अधिकारी। बस गोलियों की आवाजें सुनाई देती हैं। दुखद बात यह है कि हिंसा ने पहले ही निर्दोष लोगों की जान ले ली है, इस महीने के पहले हफ्ते में छह साल के बच्चे सहित कई लोग गोलीबारी और बम विस्फोटों का शिकार हो गए।

सेना की अधिक तैनाती हो
वहीं एक अन्य ग्रामीण निराश मायुम ने कहा कि हम अपने गांव में और अधिक सेना, सीआरपीएफ या असम राइफल्स की तैनाती चाहते हैं ताकि हम शांति से रह सकें। ग्रामीणों की दुर्दशा फोलजांग से आगे तक फैली हुई है, कांगपोकपी और इम्फाल पश्चिम के पास रहने वाला गोरखा समुदाय भी इसी तरह के खतरे का सामना कर रहा है। सेनापति जिले में रहले वाले एक ग्रामीण संजय बिष्टा ने कहा कि हम शांति चाहते हैं। इस क्षेत्र में शांति बहाल करने के लिए किसी को हस्तक्षेप करना चाहिए।

सुरक्षा बल बफर जोन बनाने के लिए परिश्रमपूर्वक काम कर रहे हैं, जैसे चुराचांदपुर और बिष्णुपुर के बीच स्थापित किया गया, लेकिन यह अशांति को शांत करने के लिए अपर्याप्त साबित हुआ है। एक सुरक्षा अधिकारी ने पीटीआई से बात करते हुए कहा कि मणिपुर के लिए दंगे नई बात नहीं हैं। हर छह से सात साल में किसी न किसी तरह के दंगे होते रहते हैं। लेकिन यह पिछले दंगों से बिल्कुल अलग है। हमने समाज के भीतर इस तरह का विभाजन कभी नहीं देखा है और यह गंभीर स्थिति है।

बफर जोन बनाने के लिए अधिक कर्मियों की आवश्यकता
जब अतिरिक्त बलों की तैनाती की योजना के बारे में सवाल किया गया, तो अधिकारी ने जोर देकर कहा कि निश्चित रूप से, हमें पहाड़ियों और घाटी से सटे क्षेत्रों में प्रभावी बफर जोन बनाने के लिए अधिक कर्मियों की आवश्यकता है। केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) के एक अन्य अधिकारी ने कहा कि स्थानीय सुरक्षा तंत्र परिणाम देने में सक्षम नहीं है। मैतेई और कुकी दोनों समुदायों के नागरिकों ने विभिन्न मामलों के लिए हमारी सहायता मांगनी शुरू कर दी है।

The post Manipur violence : दीवार को भेदती हुई बर्तनों और घर के फर्नीचर में घुसीं गोलियां first appeared on दिल्ली अप टू डेट - Delhi Up To Date.

]]>
https://delhiuptodate.com/archives/4702/feed 0
बंगाल की हिंसा की घटनाओं के बीच राज्यपाल पहुँचे दिल्ली, आज करेंगे गृह मंत्री शाह से मुलाकात https://delhiuptodate.com/archives/4249 https://delhiuptodate.com/archives/4249#respond Mon, 10 Jul 2023 07:34:49 +0000 https://delhiuptodate.com/?p=4249 कोलकता। पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस नई दिल्ली आए । आज वह केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात करेंगे। इस दौरान बंगाल में हाल ही में हुई हिंसा पर भी बातचीत होने की उम्मीद है। पश्चिम बंगाल में शनिवार को पंचायत चुनाव हुए थे। इस दौरान पूरे सूबे में जमकर हिंसा हुई। ... Read more

The post बंगाल की हिंसा की घटनाओं के बीच राज्यपाल पहुँचे दिल्ली, आज करेंगे गृह मंत्री शाह से मुलाकात first appeared on दिल्ली अप टू डेट - Delhi Up To Date.

]]>
कोलकता। पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस नई दिल्ली आए । आज वह केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात करेंगे। इस दौरान बंगाल में हाल ही में हुई हिंसा पर भी बातचीत होने की उम्मीद है।
पश्चिम बंगाल में शनिवार को पंचायत चुनाव हुए थे। इस दौरान पूरे सूबे में जमकर हिंसा हुई। खूब तोड़फोड़, पथराव और आगजनी हुई है। राजनीतिक लड़ाई के चलते छह जिलों में 16 लोगों की हत्या कर दी गई थी। 300 से ज्यादा लोग घायल हुए थे। कहीं पोस्टल बॉक्स ही लूट लिया गया तो कहीं खूब बम चले। कूचबिहार में पोलिंग बूथ में तोड़फोड़ के बाद उपद्रवियों ने बैलेट पेपर्स में ही आग लगा दी थी।

पश्चिम बंगाल पंचायत चुनाव: हिंसा प्रभावित बूथों पर आज दोबारा वोटिंग,  गृहमंत्री को रिपोर्ट देने दिल्ली पहुंचे राज्यपाल - West bengal panchayat  election ...शनिवार आठ जुलाई को पश्चिम बंगाल की 73,887 ग्राम पंचायत सीटों में से 64,874 पर मतदान हुआ था। बाकी 9,013 सीटों पर उम्मीदवारों को निर्विरोध चुन लिया गया था। निर्विरोध चुने जाने वाले उम्मीदवारों में सबसे ज्यादा 8,874 तृणमूल कांग्रेस से हैं। पंचायत चुनाव के नतीजे 11 जुलाई को आएंगे। मतदान वाले दिन 16 राजनीतिक कार्यकर्ताओं की हत्या हुई। इनमें से 13 मौतें मुर्शिदाबाद, कूचबिहार और मालदा में हुई। सबसे ज्यादा पाँच मौतें मुर्शिदाबाद में हुईं। कूचबिहार, उत्तरी दिनाजपुर और मालदा में मारे जाने वाले लोगों की संख्या क्रमशः तीन, चार और एक थी। वहीं दक्षिण बंगाल के तीन जिलों- नादिया, पूर्वी बर्दवान और दक्षिण 24 परगना में एक-एक मौत हुई। जहाँ 200 से ज्यादा लोग घायल भी हुए। जलपाईगुड़ी हिंसा में आठ पत्रकार भी घायल हुए।
पिछले एक महीने के आंकड़ों पर नजर डालें तो इस बीच, 38 से ज्यादा राजनीतिक हत्याएं हो चुकी हैं।
बंगाल हिंसा की खबरों के बीच BSF DIG एसएस गुलेरिया ने राज्य चुनाव आयोग पर बड़ा आरोप लगाया है।

violence in bhangar during nomination for west bengal panchayat elections  tmc isf accused each other jbj | बंगाल पंचायत चुनाव : नामांकन के दौरान  रणक्षेत्र बना भांगड़, तनाव के बीच TMC-ISF ने

डीआईजी ने कहा कि राज्य चुनाव आयोग ने सिर्फ सात जून को सेंसिटिव बूथ की संख्या बताई। उनकी लोकेशन या कोई और अन्य जानकारी नहीं दी गई। यहाँ पर सेंट्रल आर्म्ड पुलिस फोर्स (CAPF) के 59 हजार ट्रूप और 25 राज्यों की आर्म्ड पुलिस भी मौजूद थी, लेकिन इसका ठीक तरीके से इस्तेमाल नहीं किया जा सका। राज्य सरकार ने बताया था कि सिर्फ 4834 सेंसिटिव बूथ हैं, जिन पर CAPF को तैनात किया गया था, लेकिन असल में यहाँ इससे कहीं ज्यादा सेंसिटिव पोलिंग बूथ थे। BSF की तैनाती तो स्थानीय प्रशासन की मांग पर ही की गई थी। इसके बावजूद प्रशासन और राज्य चुनाव आयोग ने सही जानकारी नहीं दी। पश्चिम बंगाल चुनाव आयुक्त राजीव सिन्हा ने भी पलटवार किया। उन्होंने कहा कि यह जिम्मेदारी जिला प्रशासन की थी कि चुनाव के दौरान भीड़ को कंट्रोल करें। उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्रीय बल बंगाल में समय रहते कंपनियां तैनात नहीं कर सका।
हिंसा की घटनाओं को देखते हुए गृह मंत्री अमित शाह ने शनिवार को राज्य सरकार से रिपोर्ट मांगी। उन्होंने भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सुकान्त मजूमदार से भी बात की और पार्टी के कार्यकर्ताओं के बारे में जानकारी ली थी। पश्चिम बंगाल के राज्य सीवी आनंद बोस ने भी चिंता जताई थी।

The post बंगाल की हिंसा की घटनाओं के बीच राज्यपाल पहुँचे दिल्ली, आज करेंगे गृह मंत्री शाह से मुलाकात first appeared on दिल्ली अप टू डेट - Delhi Up To Date.

]]>
https://delhiuptodate.com/archives/4249/feed 0